कैसे हुआ खुलासा?
गृह मंत्री परमेश्वर ने बताया कि दीपराज चंद्रा बीईएल की शोध टीम में कार्यरत था और उसने महत्वपूर्ण रक्षा उत्पादों और रणनीतिक फैसलों की जानकारी साझा की। सैन्य खुफिया विभाग ने इस गतिविधि की गोपनीय जांच के बाद उसे गिरफ्तार किया।
सूत्रों के अनुसार, आरोपी को बिटकॉइन के माध्यम से भुगतान किया जाता था और उसने ईमेल, व्हाट्सएप और टेलीग्राम जैसे कूट संचार माध्यमों का इस्तेमाल कर जानकारी लीक की। इसके साथ ही वह सुरक्षा प्रोटोकॉल से बचने के लिए अलग ईमेल आईडी और वर्चुअल प्राइवेट नेटवर्क (VPN) का उपयोग करता था।
कौन है आरोपी?
- नाम: दीपराज चंद्रा
- उम्र: 36 वर्ष
- मूल निवासी: गाजियाबाद, उत्तर प्रदेश
- पद: वरिष्ठ इंजीनियर, बीईएल
- आरोप: देशद्रोह, संवेदनशील जानकारी लीक
क्या लीक की गई जानकारी में शामिल था?
- संचार और रडार प्रणालियों की तकनीकी जानकारी
- सुरक्षा प्रोटोकॉल और ऑपरेशन स्ट्रक्चर
- उच्च पदस्थ अधिकारियों की जानकारियां
- संरचनात्मक नक्शे और उत्पादन प्रणाली से जुड़े डेटा
जांच में जुटी एजेंसियां
केंद्रीय एजेंसियों ने मामले की विस्तृत जांच शुरू कर दी है। डिजिटल लेनदेन और संदिग्ध संचार के माध्यमों को खंगाला जा रहा है। साथ ही दो अन्य संदिग्धों की भी तलाश जारी है, जो आरोपी के संपर्क में थे।
आगे की कार्रवाई
“यह एक डरावना मामला है। आरोपी ने देश की सुरक्षा से समझौता किया है। उचित कानूनी कार्रवाई की जाएगी और दोषियों को कड़ी सजा दिलाई जाएगी।”
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